क्या विदेशी मुद्रा है और कैसे यह कारोबार कर रहा है

दिप्रिंट आपके लिए ले कर आता है कहानियां जो आपको पढ़नी चाहिए, वो भी वहां से जहां वे हो रही हैं
ऑनलाइन विदेशी मुद्रा का विक्रय
विशेषकर विदेशी यात्रा का एक अलग ही रोमांच होता है। यह रोमांच चाहे भ्रमण के लिए हो या व्यापार के लिए हो, विदेशी मुद्रा का विनिमय और उससे जुड़ी परेशानियाँ एक जैसी ही होती हैं। लेकिन जब आप इस ट्रिप से क्या विदेशी मुद्रा है और कैसे यह कारोबार कर रहा है वापस आ जाते हैं तब बची हुई विदेशी मुद्रा को आप बेचने का प्रयास करते हैं।
अधितर स्थितियों में विदेश यात्रा पर जाने वाले अपने साथ किसी आपातकालीन स्थिति से निपटने के लिए थोड़ी एक्स्ट्रा विदेशी मुद्रा ले कर जाते हैं। क्यूंकी वे जानते हैं कि विदेशी मुद्रा को विदेशी धरती पर खरीदना महंगा और समय लगाने वाला होता है। इसलिए देर से सुरक्षा भली वाला नियम यहाँ भी लागू होता है और जरूरत से थोड़ी अधिक विदेशी करेंसी अपने साथ लेकर जाएँ और किसी भी अनदेखी परेशानी से बचें। ट्रिप से वापस आने के बाद अगर आप अपनी बची हुई विदेशी मुद्रा का विक्रय नहीं करते हैं तो वह आपके लिए मृत धन के समान है। कुछ लोग यह काम इसलिए भी नहीं कर पाते हैं कि वे ऑनलाइन विक्रय या एजेंट के माध्यम से विक्रय में से उपयुक्त माध्यम का चयन नहीं कर पाते हैं। थॉमस कुक के पास आपकी हर समस्या का हल है। फिर भी यदि आप अपनी अनुपयोगी विदेशी मुद्रा को ट्रिप कि यादगार बना कर, किसी डर के कारण या ठीक जानकारी न होने के कारण अपने पास रखना चाहते हैं तो इस्क्में कोई समझदारी नहीं है।
अब रुपये का 'बॉस' नहीं रहेगा डॉलर, विदेशी लेनदेन भी भारतीय मुद्रा में होगा, कैसे काम करेगा आरबीआई का नया सिस्टम?
डॉलर के मुकाबले रुपया गिरकर 79.45 के रिकॉर्ड निचले स्तर तक चला गया है.
डॉलर के मुकाबले रुपये में आती कमजोरी को थामने के साथ व्यापार के मोर्चे पर अमेरिकी बादशाहत को चुनौती देने के लिए रिजर्व . अधिक पढ़ें
- News18Hindi
- Last Updated : July 12, 2022, 11:34 IST
भारत अपने आयात-निर्यात का सेटलमेंट रुपये में कर सकेगा.
नया क्या विदेशी मुद्रा है और कैसे यह कारोबार कर रहा है सिस्टम फॉरेन एक्सचेंज मैनेजमेंट एक्ट (FEMA) के तहत बनाया जा रहा है.
भारत में अधिकृत बैंकों को वॉस्ट्रो खाते खोलने की इजाजत दी गई है.
नई दिल्ली.क्या विदेशी मुद्रा है और कैसे यह कारोबार कर रहा है रूस-यूक्रेन युद्ध शुरू होने के साथ ही भारतीय मुद्रा पर अमेरिकी डॉलर का दबाव भी बढ़ने लगा. ग्लोबल मार्केट में तमाम प्रतिबंधों के बाद हालात ये बन गए कि डॉलर के मुकाबले रुपया रिकॉर्ड निचले स्तर पर चला गया. भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) इस समस्या से निपटने के लिए नया सिस्टम विकसित कर रहा है.
आरबीआई ने बताया है कि अंतरराष्ट्रीय व्यापार भी रुपये में करने के लिए नया सिस्टम बनाया जा रहा है. डॉलर के मुकाबले भारतीय मुद्रा में लगातार आ रही गिरावट और दुनिया की रुपये में बढ़ती दिलचस्पी को देखते क्या विदेशी मुद्रा है और कैसे यह कारोबार कर रहा है हुए नया सिस्टम विकसित किया जा रहा है. इसके बाद भारत अपने आयात-निर्यात का सेटलमेंट रुपये में कर सकेगा और ग्लोबल ट्रेडिंग सिस्टम में डॉलर व अमेरिका का दबाव खत्म हो जाएगा.
मुद्रा संकट के डर से विदेशी मुद्रा भंडार को बढ़ाते रहने के उलटे नतीजे भी मिल सकते हैं
चित्रणः रमनदीप कौर । दिप्रिंट
नये आंकड़े बताते हैं कि भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआइ) का विदेशी मुद्रा भंडार बहुत तेजी क्या विदेशी मुद्रा है और कैसे यह कारोबार कर रहा है से बढ़ रहा है. अप्रैल 2020 के बाद से आरबीआइ के डॉलर के भंडार में 100 अरब डॉलर का इजाफा हुआ है और यह कुल 608 अरब डॉलर का हो गया है. इस तरह भारत दुनिया में सबसे बड़ा विदेशी क्या विदेशी मुद्रा है और कैसे यह कारोबार कर रहा है मुद्रा भंडार रखने वाला पांचवां देश बन गया है.
केंद्रीय बैंक इसे उचित ठहराने के लिए विदेशी मुद्रा का पर्याप्त भंडार रखने की बातें कर रहा है. कहा जा रहा है कि आरबीआइ सिर्फ इतना बड़ा भंडार रखता है जो आयात के 15 महीने के बिल का भुगतान करने को पर्याप्त हो जबकि दूसरे देश इससे ज्यादा का भंडार रखते हैं. स्विट्ज़रलैंड, जापान, रूस, चीन भारत की तुलना में ज्यादा बड़ा भंडार रखते हैं जो क्रमशः 39, 20, 16 महीने के आयात बिल के लिए पर्याप्त हो. लेकिन पिछले दो दशकों से आरबीआइ मुद्रा की गतिविधियों के मद्देनजर विदेशी मुद्रा भंडार रखने लगा है.
मुद्रा पर नज़र, लेकिन मुद्रास्फीति के लक्ष्य के विपरीत
विदेशी मुद्रा भंडार में हाल में जो वृद्धि हुई है क्या विदेशी मुद्रा है और कैसे यह कारोबार कर रहा है वह रुपये की कीमत में वृद्धि को रोकने की कोशिश के तहत हुई है. जून 2020 में रुपया-डॉलर विनिमय दर 75.6 थी, आज यह मामूली सुधार के साथ 72.8 है. आरबीआइ के हस्तक्षेप के कारण बड़ी मूल्य वृद्धि को क्या विदेशी मुद्रा है और कैसे यह कारोबार कर रहा है रोका जा सका. मुद्रा के साथ ऐसे खेल से दूसरे देश तो नाराज होते ही हैं, यह मुद्रास्फीति को बढ़ाने के कारण महंगा भी पड़ता है.
इसके अलावा, अगर मुद्रा पर अटकलों का गहरा हमला होता है तब गिरावट को रोकने के लिए भंडार का इस्तेमाल नहीं किया जाता. पहले, आरबीआइ रुपये की कीमत में गिरावट को रोकने के लिए मुद्रा नीति को सख्त करता था और पूंजीगत नियंत्रणों का प्रयोग करता था, न कि अपने अरबों की बिक्री करता था. केंद्रीय बैंक रुपये की मूल्यवृद्धि नहीं चाहता क्योंकि यह निर्यातों को गैर-प्रतिस्पर्द्धी बना देता है. इसलिए वह डॉलर खरीदने के लिए विदेशी मुद्रा बाज़ार में हस्तक्षेप करता है.
क्या विदेशी मुद्रा भंडार घरेलू मुद्रा को कमजोर नहीं होने देता?
बड़े क्या विदेशी मुद्रा है और कैसे यह कारोबार कर रहा है विदेशी मुद्रा भंडार को इसलिए भी उपयोगी माना जाता है कि यह केंद्रीय बैंक क्या विदेशी मुद्रा है और कैसे यह कारोबार कर रहा है को मुद्रा को कमजोर होने से बचाने की पर्याप्त ताकत देता है. अगर डॉलर के मुक़ाबले मुद्रा का मूल्य घटने लगता है तब केंद्रीय बैंक डॉलर के भंडार में से बिक्री करके स्थानीय मुद्रा की खरीद कर सकता है और उसका मूल्य गिरने से रोक सकता है. लेकिन मुद्रा पर जब अटकलों के कारण दबाव हो तब ऐसा शायद ही हो पाता है.
अमेरिकी सरकार से मिले विशाल वित्तीय पैकेज के कारण उसकी अर्थव्यवस्था में काफी सरगर्मी है, और मुद्रास्फीति बढ़ रही है. ऐसे में अमेरिकी फेडरल रिजर्व पॉलिसी ब्याज दर में वृद्धि कर सकता है. अगर ऐसा होता है तब भारत जैसी उभरती अर्थव्यवस्थाओं की हालत मई 2013 के ‘टेपर टैंट्रम’ कांड वाली हो जाएगी जब अमेरिकी फेडरल रिजर्व ने अपनी ‘क्वांटिटेटिव ईजिंग पॉलिसी’ को संकुचित करने का संकेत दे दिया था. इसके कारण भारत और दूसरी उभरती अर्थव्यवस्थाओं से पूंजी बाहर जाने लगी और उनकी मुद्राओं में गिरावट आ गई थी.
रुपये में गिरावट जारी, 38 पैसे टूटकर 81.64 क्या विदेशी मुद्रा है और कैसे यह कारोबार कर रहा है प्रति डॉलर पर बंद
मुंबई, 17 नवंबर (भाषा) घरेलू शेयर बाजार में कमजोरी के रुख और विदेशों में डॉलर के मजबूत होने से अंतरबैंक विदेशी मुद्रा विनिमय बाजार में बृहस्पतिवार को अमेरिकी डॉलर के मुकाबले रुपया 38 पैसे की गिरावट के साथ 81.64 प्रति डॉलर पर बंद हुआ।
बाजार सूत्रों ने कहा कि अमेरिका के मजबूत खुदरा बिक्री के आंकड़ों के बाद वहां के केंद्रीय बैंक फेडरल रिजर्व द्वारा सख्त मौद्रिक नीति की गुंजाइश को देखते हुए डॉलर मजबूत हो गया।
अंतरबैंक विदेशी मुद्रा विनिमय बाजार में रुपया 81.62 पर खुला। कारोबार के दौरान रुपया 81.45 के दिन के उच्चस्तर और 81.68 के निचले स्तर को छूने के बाद अंत में अमेरिकी मुद्रा के मुकाबले 38 पैसे की गिरावट के साथ 81.64 प्रति डॉलर पर बंद हुआ। यह पिछले कारोबारी सत्र में 35 पैसों की गिरावट के साथ 81.26 प्रति डॉलर पर बंद हुआ था।
Gold-Silver Rate Today:इंदौर सराफा बाजार में सस्ता हो गया है गोल्ड,अब इतनी रह गई कीमत
Updated Nov 22, 2022 | 01:12 PM IST
Petrol-Diesel Rate Today, 23 November 2022: रोज सुबह 6 बजे अपडेट होती है पेट्रोल-डीजल की कीमत, ये है ताजा भाव
Gold and Silver Rate Today: इंदौर सराफा बाजार में सस्ता हो गया है गोल्ड-सिल्वर
Gold and Silver Rate Today, 22 November 2022: इंदौर को मध्य प्रदेश की कमर्शियल राजधानी है। गोल्ड के गहनों के लिए भारतीयों का प्यार किसी से छिपा नहीं है। मंगलवार को इंदौर के सर्राफा बाजार (Indore Sarafa Bazaar) में गोल्ड की कीमत सस्ती हुई है। 22 कैरेट वाला 1 ग्राम गोल्ड 10 रुपये सस्ता होकर 4933 रुपये पर पहुंच गया है। वहीं 24 कैर्ट के प्योर गोल्ड की कीमत 5180 रुपये प्रति ग्राम हो गया है। बैंकबाजार के मुताबिक 22 कैरेट वाला 8 ग्राम सोना 21 नवंबर के 39,544 रुपये से 80 रुपये सस्ता होकर 39,464 रुपये पर पहुंच गया है। इसी क्या विदेशी मुद्रा है और कैसे यह कारोबार कर रहा है तरह 24 कैरेट वाला गोल्ड 80 रुपये कम होकर 41440 रुपये पर पहुंच गया है।